पारिवारिक हिंदी स्टोरी। Emotional Heart Touching Story | Sad Hindi Story | Best Hindi Story

Sad Hindi Story : मेरा नाम अयान है हम लोग एक ऐसे गांव में रहते थे जहां के लोग बहुत पुराने ख्यालात के थे और हमारे घरेलू मामलात भी बस मामूली से ही थे यह उस समय की बात है जब मेरी उम्र 10 साल की हुआ करती थी हम लोग जॉइंट फैमिली सिस्टम में रहा करते थे मेरे परिवार में मेरे दादा दादी मेरी दो जवान फुप्पो मेरे पापा और मेरे तीन भाई बहन थे और इस घर के लाडले बेटे मेरे चाचा जी जो अपने सारे भाई बहन में सबसे छोटे थे

जिन्हें अपने मां-बाप के साथ-साथ अपने सभी बड़े बहन भाइयों का भी बेहद प्यार मिला था मेरी बड़ी फुप्पो का रिश्ता लगा हुआ था चाचा जी की शादी और छोटी फुप्पो की शादी में अभी समय था मेरी उम्र 10 साल थी मेरी दोनों बहनें मुझसे छोटी थी एक बहन 3 साल की थी और एक बहन 7 साल की थी हम सब एक साथ बड़े ही खुश रहते थे वो बचपन में बहुत अच्छा हुआ करता था जब ना तो किसी बात की टेंशन थी और ना ही खेलकूद के अलावा हम कुछ और जानते थे

हमारे गांव में शिक्षा को ज्यादा महत्व नहीं दिया जाता था लेकिन फिर भी दादा जी ने मेरे चाचा जी को पढ़ाया लिखाया था और मैं भी स्कूल जाता था चाचा जी की पढ़ाई तो पूरी हो चुकी थी उस समय मुझे अपनी जिंदगी बहुत अच्छी लगती थी क्योंकि सब एक साथ इतना खुश थे कि हम लोग एक दूसरे के बिना रह ही नहीं पाते थे उस समय मेरा बचपन था मैं उस घर का इकलौता पोता था इस इसीलिए सब लोग मुझे भी मेरी बहनों के साथ-साथ बहुत प्यार करते थे

और फिर एक दिन हमारे घर में कुछ ऐसा होने लगा जिससे हमारे घर की सुख शांति खराब होना शुरू हो गई थी मेरी बड़ी फुप्पो का रिश्ता जो कि लगा हुआ था उनकी मंगनी कर दी गई थी और फिर उनकी शादी की तारीख भी फिक्स हो गई थी मेरी दोनों फुप्पो बहुत समझदार थी दोनों ही कभी घर से बाहर नहीं निकली थी यह शादी सभी घर वालों की मर्जी के मुताबिक हो रही थी हमारे गांव में कोई भी लड़की या लड़का अपनी मर्जी के मुताबिक शादी नहीं कर सकते थे

क्योंकि हमारे गांव में मोहब्बत करने वालों का अंजाम बहुत बुरा होता था अगर कोई को अपनी पसंद भी अपने मां-बाप के आगे जाहिर करता तो उसको खामोश करवा दिया जाता था इसलिए हमारे पूरे गांव में कोई लव मैरिज नहीं करता था इस दौरान मेरी बड़ी फुप्पी की मंगनी वाले दिन मेरे चाचा जी के लिए गांव से ही एक रिश्ता आया था दादा जी अभी तो चाचा जी का रिश्ता नहीं लगा सकते थे

क्योंकि उन्हें पहले चाचा जी से बड़ी अभी एक और बेटी की शादी करनी थी लड़के वालों का कहना था कि उन्हें हमारे चाचा जी पसंद आ गए हैं क्योंकि मेरे चाचा जी बहुत अच्छे स्वभाव के इंसान थे वो लोगों की हमेशा मदद किया करते थे फुप्पो की मंगनी हो जाने के बाद सब लोगों के बीच बैठकर यही डिस्कशन होना शुरू हो गया था कि क्या किया जाए लड़की वाले थे कि मेरे चाचा जी को पसंद कर बैठे थे और इधर दादाजी अभी उनकी शादी नहीं करना चाहते थे

दादी ने उस लड़की को देखा था वो लड़की बहुत अच्छी थी और दादी को तो वह पसंद आ गई थी दादी जी का कहना था कि हम लोग ऐसा करते हैं कि पहले रिश्ता फिक्स कर देते हैं और उसके बाद जब दोनों बेटियां अपने घरों की हो जाएंगी तब अपने छोटे बेटे की शादी कर देंगे मगर ऐसा नहीं हो सका क्योंकि जब चाचा जी को यह बात पता चली कि दादा-दादी उनका रिश्ता तय करने वाले हैं तो चाचा जी ने साफ इंकार कर दिया था

उन्होंने कहा था कि मैं अभी शादी नहीं करना चाहता दादा जी ने और घर के बाकी सब लोगों ने उनको यही समझाया था कि अभी तुम्हारी शादी थोड़ी ना कर रहे हैं पहले तुम्हारी दोनों बहनों को उनकी ससुराल का कर देंगे उसके बाद तुम्हारी शादी करेंगे अभी तो सिर्फ तुम्हारा रिश्ता तय हो रहा है लड़की वाले तुम्हारे स्वभाव से बहुत इंप्रेस हुए लड़की भी बहुत सुंदर है लड़की के पिता गांव के इज्जतदार आदमी हैं तुम्हें तो ऊपर वाले का शुक्रिया अदा करना चाहिए कि तुम्हारा रिश्ता खुद हमारे घर चलकर आया है

हम लोग मामूली से लोग हैं जहां रिश्ते खुद घर चलकर आते हैं ऐसे में हमें रिश्तों को अहमियत देनी चाहिए मगर चाचा दादाजी की तो किसी भी बात को मानने के लिए तैयार नहीं थे वह बार-बार यही कह रहे थे कि वह अभी अपना रिश्ता भी फिक्स नहीं करवाना चाहते मगर जब वह ज्यादा जिद कर ने लगे तो दादा और दादी जी ने इस बात का अंदाजा लगा लिया था कि कहीं मेरे चाचा जी किसी लड़की को पसंद तो नहीं करते वह अपनी मर्जी के मुताबिक तो शादी नहीं करना चाहते

यह सोच आने पर उन लोगों के दिल कांप उठे थे क्योंकि वह जानते थे कि इस गांव में मोहब्बत करने वाले का क्या अंजाम होता है वह अंजाम सिर्फ उस लड़का लड़की को ही नहीं बल्कि उनकी पूरी पीढ़ी को भुगतना पड़ता है दादाजी ने फौरन ही चाचा जी से बात की और उनसे कहा कि अगर कोई बात है जिस वजह से तुम यह शादी नहीं करना चाहते इस लड़की के साथ अपना रिश्ता नहीं करना चाहते तो हमें बता दो ताकि बदनामी होने से पहले ही हम उस चीज का हल निकाल लें

चाचा जी ने जब अपनी मां के मुंह से यह बात सुनी तो वह वजह बता ही दी थी जिसकी वजह से वह रिश्ते से इंकार कर रहे थे उन्होंने कहा था कि मैं गांव की एक लड़की से बहुत प्यार करता हूं उसे बहुत पसंद करता हूं और उसी के साथ शादी करना चाहता हूं दादी जी ने चाचा जी से कहा कि तुम पागल तो नहीं हो गए हो तुम जानते हो कि हमारे गांव में मोहब्बत करना कितना बड़ा जुर्म है कोई भी इंसान अपनी मर्जी से शादी नहीं कर सकता उसकी मर्जी वही होगी

जो उसके मां-बाप की मर्जी होगी तुम हमारे गांव के उसूलों के खिलाफ जा रहे हो मगर चाचा जी कहने लगे कि शादी तो मैं उसी लड़की से करूंगा चाचा जी के इतना ही कहने पर दादी ने उन्हें ढेर सारी बातें सुनाई थी और उनसे कह दिया था कि तुम जिस लड़की के सपने अपनी आंखों से देख रहे हो उस लड़की को भूलकर जहां पर हम तुम्हारी शादी करवाना चाहते हैं वहां के लिए तैयार हो जाओ अब हम हम तुम्हारी और तुम्हारी बहन की शादी जल्दी ही करवा देंगे

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हम नहीं चाहते कि तुम्हारी वजह से हमारी बदनामी हो हम गरीब लोग जरूर हैं मगर हमारी इस गांव में बहुत इज्जत है और यह इज्जत तुम्हारे बाप ने बड़ी मुश्किल से कमाई है चाचा जी को उस समय अपने मां की समझाई हुई सारी बातें बहुत बुरी लग रही थी मोहब्बत से रोकने वाला हर वह इंसान बुरा लग रहा था जो उनकी मोहब्बत के बीच में आ रहा था चाचा जी कुछ भी करके इस लड़की से शादी करना चाहते थे जिसे वह पसंद करते थे

लेकिन ऐसा मुमकिन नहीं हो सकता था दादाजी के कानों में जब यह बात पड़ी तो दादाजी ने चाचा जी से कह दिया था कि अगर तुमने कोई गलत कदम उठाने की कोशिश की तो हम तुम्हें गोली मार देंगे और खुद जेल चले जाएंगे मगर तुम्हें ऐसा काम ना करने देंगे हम नहीं चाहते कि हमारी पूरे गांव में बदनामी हो दादा ने चाचा जी के सामने हाथ जोड़ लिए थे और यही सब कुछ मेरे पापा ने भी उनको समझाया था मगर चाचा जी किसी भी बात को सुनने के लिए तैयार नहीं थे

वह बहुत गुस्से में रहने लगे थे उनका व्यवहार बहुत अच्छा रहता था वह बहुत अच्छे व्यवहार के इंसान थे लेकिन जिस दिन से उन्होंने अपनी मर्जी के बारे में घर में बताया था घर की सुख शांति तो जैसे खत्म ही होती जा रही थी सब लोग चाचा जी को ये गलत कदम उठाने से पहले ही बहुत समझा रहे थे लेकिन चाचा जी किसी की सुनने के लिए तैयार ही नहीं थे क्योंकि सब लोग जानते थे कि चाचा जी के गलत कदम उठाने से हमारे परिवार में क्या होने वाला है

चाचा जी किसी भी हाल में अपने घर वालों की मर्जी के मुताबिक शादी करने के लिए तैयार नहीं थे वह लगातार मना किए जा रहे थे और कह रहे थे कि अगर मेरी शादी किसी ने जबरदस्ती उस लड़की के साथ करवानी चाही तो मैं घर से भाग जाऊंगा इस बात पर दादाजी ने भी कह दिया था कि अगर तुम इस घर से निकल कर चले गए तो हम तुम्हें कभी वापस नहीं आने देंगे इस घर में कभी तुम्हारे लिए कोई जगह नहीं रहेगी तुम हम सबके लिए मर जाओगे

चाचा जी चाहते थे कि उनके घर के संबंध भी खत्म ना हो और उनको उनकी मोहब्बत भी मिल जाए चाचा जी ने बहुत कोशिश की मगर ऐसा पॉसिबल ही नहीं था तो फिर ऐसा कैसे हो सकता था कि चाचा जी की शादी उनकी मर्जी के मुताबिक हो जाए जब उनकी बात किसी ने नहीं मानी तो चाचा जी ने वह कदम उठाया जो उन्हें नहीं उठाना चाहिए था चाचा जी घर से गायब हो गए घर वालों को लगा कि चाचा जी अपने काम से गए हुए हैं मगर वह तो वापस ही नहीं आए

लेकिन फिर गांव में एक और शोर मचने लगा था कि गांव की एक लड़की भाग गई थी लड़की के पिता और उसके भाई हमारे घर के दरवाजे पर आकर खूब हंगामा कर रहे थे उनका कहना था कि हमारी बेटी तुम्हारे बेटे के साथ भाग गई बताओ तुमने अपने बेटे को कहां भेजा है उन लोगों का शोर इतना ज्यादा था कि हम तीनों छोटे-छोटे भाई बहन बुरी तरह से डर रहे थे उस समय हम नहीं जानते थे कि आखिर घर में हुआ क्या है

मगर इतना जरूर जानते थे कि अब और ज्यादा बुरा होने वाला है मां ने हम तीनों को गले से लगा लिया था घर के बाहर बहुत शोर शराबा हो रहा था मेरे पापा और दादाजी गांव के लोगों को समझा समझा कर थक गए थे कि उन्हें खुद को भी नहीं पता कि वह कहां चले गए दादा जी को चाचा जी से यह उम्मीद नहीं थी कि वह इतना बड़ा कदम उठा सकते हैं और फिर चाचा जी के जाने के बाद एक-एक करके हमारी जिंदगी में परेशानियां आनी शुरू हो गई

फुप्पो जिनकी मंगनी हो चुकी थी उनकी ससुराल वालों ने भी उनसे रिश्ता खत्म कर दिया गांव वालों ने हमें तंग करना शुरू कर दिया लड़की वाले बार-बार हमारे घर आते और घर की तलाशी लेने की जिद करते मगर हमारे घर में औरतें रहती थी घर के मर्द आख आखिर घर की तलाशी उन्हें कैसे लेने दे सकते थे घर का माहौल एकदम डरावना सा होने लगा था लड़की के परिवार वालों ने हमारे परिवार पर हमला बोलना शुरू कर दिया था

वह बार-बार यही कह रहे थे कि हमारी लड़की तो बहुत सीधी थी तुम्हारा बेटा ही उसे अपनी बातों में लेकर गांव से भगा ले गया पापा ने अपने दोस्तों के साथ मिलकर चाचा जी को ढूंढने की बहुत कोशिश की आसपास के गांव में भी देखा मगर चाचा जी कहीं नहीं मिले थे अब हमारा गांव में रहना दुश्वार हो चुका था गांव के लोग मेरे पापा और दादाजी को बहुत तंग करते थे फुप्पो का रो-रोकर बुरा हाल हो चुका था

यह बदनामी मेरे दादाजी नहीं सह सके और वह इस दुनिया को छोड़कर चले गए दादाजी के जाने के बाद दादी बीमार रहने लगी थी घर का सारा बोझ मेरे पापा के कंधों पर आ गया था पापा सबको संभालते संभालते थक गए थे गांव में कोई भी हमारे परिवार के किसी सदस्य से बात नहीं करता था सब यही कहते थे कि जिस घर का बेटा या बेटी भाग जाते हैं उसकी तो नस्लों तक से कोई संबंध नहीं रखा जाता मेरे पापा की गांव में हलवाई की दुकान थी यह सब होने के बाद गांव वालों ने हमारी दुकान से कुछ भी खरीदना बंद कर दिया था हमारे घर में बहुत सारी परेशानियां आने लगी थी

पापा ने फुपो का रिश्ता कहीं और तलाश करने की कोशिश की थी मगर कोई भी फुप्पो को अपने घर की बहू बनाने के लिए तैयार नहीं हो रहा था उधर दादी की भी तबीयत अब बहुत ज्यादा खराब रहने लगी थी हमारे घर के आस पड़ोसी भी हमसे कोई संबंध नहीं रखते थे गांव में किसी की की शादी होती तो कोई हमें इनवाइट भी नहीं करता था कोई अगर जरूरी सामान खरीदना होता तो हमें कोई भी दुकानदार देता नहीं था या फिर उसे महंगे दामों में खरीदना होता था

जिंदगी के दिन गुजारना मुश्किल हो गया था और यह सब कुछ किसी और की वजह से नहीं बल्कि चाचा जी की वजह से हो रहा था जिन्होंने अपने घर के सारे ही सदस्यों को एक बड़ी मुसीबत में डाल दिया था सब लोगों का तो रो-रोकर बुरा हाल हो चुका था क्योंकि ऐसा लगता था जैसे चाचा जी ने भागकर शादी नहीं की बल्कि किसी का कत्ल कर दिया है उसकी सजा हम सब लोग भुगत रहे हैं मेरा भी स्कूल जाना बंद हो चुका था हम लोगों में से कोई भी घर से बाहर ज्यादा नहीं निकलता था

पापा कहते थे कि मैं सब कुछ ठीक कर दूंगा मगर पापा की लाख कोशिशों के बावजूद भी कुछ ठीक नहीं हो सका था आखिरकार वह हमारे लिए कुछ नहीं कर सकते थे इस गांव के नियम ही कुछ ऐसे थे कि अगर परिवार का कोई भी एक सदस्य घर से भागकर शादी कर लेता है या फिर किसी से मोहब्बत कर बैठता है तो उसका यही अंजाम होता है वह दिन हमारे लिए बहुत कठिन थे मगर जैसे-तैसे हमें वह दिन गुजारने थे कभी-कभी पापा इन हालातों से बहुत तंग हो जाते थे

और मम्मी से कहते थे कि हम सबको खाने में मिलाकर जहर दे दो ऐसी जिंदगी से तो मरना बेहतर है घर के सारे ही सदस्यों को चाचा जी से बेहद नफरत हो गई थी फिर एक दिन ऐसा हुआ कि दादी भी हमें इस दुनिया से छोड़कर चली गई जो परिवार कभी बहुत खुशहाल हुआ करता था चाचा जी के जाने के बाद से उस घर का एक के एक सदस्य उदास रहने लगा था मेरी दोनों फुप्पो का कहीं भी रिश्ता नहीं लग पा रहा था घर में खाने के लाले पड़ गए थे

लोग हमें बुरा भला कहते थे धीरे-धीरे मैं बड़ा हो रहा था मुझ में सारी समझदार आं आ रही थी और मैं सब कुछ समझता जा रहा था कि लोगों का बिहेवियर हमारे साथ ऐसा क्यों रहने लगा है गांव में रहना हमारे लिए दुश्वार हो गया था इसलिए पापा हम सब लोगों को लेकर शहर आ गए थे शहर में मेरे नाना जी का घर था नाना जी ने हम सबकी बहुत मदद की थी उन्होंने हमें अपने घर में रहने की जगह दी थी और वहां रहकर पापा ने फैक्ट्री में नौकरी करनी शुरू कर दी थी

उधर मेरी दोनों फुप्पो भी लोगों के घरों में काम किया करती थी मम्मी घर में रहकर अपने बच्चों का ख्याल रखती और सब लोगों के लिए खाना बनाया करती थी मेरे नाना जी घर में अकेले रहते थे इसलिए उन्होंने अपना पूरा घर हमारे परिवार के हवाले कर दिया था और फिर एक दिन नाना जी भी इस दुनिया को छोड़कर चले गए और उनका जो कुछ भी था वह सब वह अपनी बेटी और अपने पूरे परि वार के हवाले छोड़ गए थे अपने गांव और रिश्तेदारों से दूर होकर मेरे पापा हमेशा परेशान रहते थे मैं धीरे-धीरे बड़ा हो रहा था देखा था कि पापा चुपके-चुपके रोया करते थे

आखिरकार उन्हें अपने भाई पर बहुत भरोसा था कभी घर का कोई सदस्य चाचा जी का नाम भी धोखे से अपनी जबान पर ले भी आता तो पापा भड़क जाते थे कहते थे कि उसका नाम भी इस घर में लेने की जरूरत नहीं है वह हमारे लिए हमेशा हमेशा के लिए मर चुका है उसके चले जाने से हम लोगों की जिंदगी नरक बन गई यह बात तो मेरे पापा बिल्कुल ठीक कहते थे पापा कहते थे कि अगर वह मेरी आंखों के सामने आ गया तो मैं उसे जान से मार दूंगा

वह कभी खुश नहीं रहेगा आखिरकार उसने हम सबकी जिंदगियां तबाह की हैं सिर्फ अपनी दो पल की खुशियों के लिए जैसा हाल हमारा था ऐसा ही हाल उस लड़की के परिवार का भी था जिसको लेकर मेरे चाचा जी चले गए थे उसके परिवार वालों के साथ भी गांव वालों ने वही सब सुलूक किया था और फिर वो लोग भी तंग आकर कहीं और चले गए थे मगर हमें बेइज्जत करने में तो उस लड़की के परिवार वालों ने भी कोई कमी नहीं छोड़ी थी शहर आने के बाद काफी मुश्किल वक्त गुजरा था

आखिरकार हमारी जिंदगी में काफी कुछ बदल चुका था लेकिन फिर धीरे-धीरे सब कुछ ठीक भी होने लगा था मेरी फुपू जिनकी काफी उम्र हो चुकी थी और पापा चाहते थे कि वह अपनी दोनों बहनों को उनकी ससुराल का कर दें गांव में तो उनका कहीं रिश्ता नहीं लग सका था लेकिन शहर में उन्होंने कुछ लोगों से अपनी बहनों के रिश्ते की बात की थी मेरी दोनों फुपू की उम्र काफी हो चुकी थी इसलिए उनकी शादियां ऐसी जगह हुई थी जहां पर वह सोच भी नहीं सकती थी

बड़ी फुप्पो की शादी एक ऐसे आदमी से हुई थी जिसके पास पहले से ही दो बच्चे थे और उसकी पत्नी मर चुकी थी मगर उनके ससुराल बहुत खाती पीती थी वह अपने घर में ऐश और सुकून से रह रही थी छोटी पप्पू की शादी भी काफी समय के बाद हुई थी मगर उनकी शादी विकलांग आदमी के साथ हुई थी वह भी उसके घर में बहुत खुश थी अगर चाचा जी घर से भागकर गलत कदम ना उठाते तो शायद मेरी फुप्पो की शादी कम उम्र में ही अच्छे परिवारों में और अच्छे लड़कों के साथ हो जाती

मगर क्या कर सकते हैं शायद उनके नसीब में यही सब लिखा हुआ था अब मेरी उम्र भी 18 साल हो चुकी थी नाना जी का घर काफी बड़ा था उनके ऊपर वाला पोर्शन खाली रहता था मम्मी ने उसे किराए पर दे दिया था उसका जो भी किराया आता था उस किराय से हर महीने मेरी मम्मी मेरे और मेरी बहनों के स्कूल की फीस जमा करती थी और इस तरह मेरी पढ़ाई पूरी हुई थी हम लोग कभी वापस पलटक गांव नहीं गए

आखिर वहां जाते भी कैसे गांव वाले कभी हमें दोबारा गांव में घुसने ही नहीं देते हमारा घर भी गांव वालों के कब्जे में आ गया था हम अपना सब कुछ खो बैठे थे मैंने तो ठान लिया था कि मैं इतना कामयाब बन जाऊंगा जो जो हमने खोया है वह सब कुछ दोबारा से लौटकर हमारी जिंदगी में आ जाएगा मेरी दोनों बहनें भी जवान हो रही थी और अब मेरे दिमाग में यही बात बैठी हुई थी कि कहीं हमारा बीता हुआ कल हमारा दोबारा से पीछा ना करने लगे मुझे और मेरे पापा को हमेशा मेरी दोनों बहनों की फिक्र लगी रहती थी

शहर में आने के बाद तो मम्मी पापा ने उन दोनों को भी शिक्षा दिलवाई थी कुछ सालों बाद उनका इंटर कंप्लीट हो गया था मेरी बहनें बहुत समझदार थी उन्होंने घर में ही बच्चों को ट्यूशन पढ़ाना शुरू कर दिया था पुरानी जिंदगी बड़ी मुश्किल से गुजरी थी मगर गुजर गई थी और फिर मेरी उम्र 27 साल हो गई मेरी पढ़ाई भी कंप्लीट हो चुकी थी क्योंकि मैं इससे आगे और नहीं पढ़ सकता था अब मुझे नौकरी करनी थी मेरे पापा की उम्र काफी हो गई थी

उनकी बूढ़ी हड्डियों में अब इतनी जान नहीं थी कि वह हम सबका पेट भर सके आखिरकार बड़ी मेहनत से उन्होंने हमें यहां तक पहुंचाया था एक दिन मैं अपनी जॉब इंटरव्यू के लिए जल्दी-जल्दी भागता हुआ बस स्टेशन पर जा रहा था तभी अचानक रास्ते में मेरी टक्कर एक लड़की के साथ हो गई मेरे हाथ में मेरी फाइल थी और उस लड़की के हाथ में उसकी बुक्स थी जबकि वह कंधे पर बैग डाली हुई थी शायद वह अपने स्कूल जा रही थी मैं मैं उसकी आंखों में देखता रह गया था

वह बेहद खूबसूरत थी मगर वह बड़ी घबराई हुई थी और जमीन में बैठकर अपनी सारी बुक समेटने लगी जबकि मैं भी जल्दी से होश में आया और अपने सारे डॉक्यूमेंट अपनी फाइल में रखने लगा मैंने उसे कहा कि सॉरी मुझे लेट हो रहा था इसलिए टक्कर हो गई उसने भी कहा कि कोई बात नहीं मुझे भी लेट हो रहा है यह कहकर वो लड़की जा चुकी थी जबकि मैं अपने डॉक्यूमेंट सेट कर रहा था मैंने देखा कि उस लड़की के कुछ पेपर्स धोखे से मेरे डॉक्यूमेंट की फाइल में आ गए थे

मगर उन डॉक्यूमेंट में एक फोटोग्राफ भी था इस फोटोग्राफ को देखकर तो मेरे पैरों तले से जमीन निकल गई थी क्योंकि यह फोटो फैमिली फोटो था और इस फोटो में जो परिवार मुझे नजर आ रहा था उसने मेरे होश उड़ा दिए थे मैंने तो सोचा भी नहीं था कि जिंदगी में ऐसे इंसान से टकराव मेरा इस तरह से भी हो जाएगा यह लड़की मेरे चाचा की बेटी थी और इसके पास जो फोटो था इसमें इस लड़की के साथ मेरे चाचा जी और वह औरत भी मौजूद थी जिसके साथ मेरे चाचा जी ने शादी की थी

इसका मतलब यह था कि चाचा जी भागकर इस शहर में आकर बस गए थे और अब वह अपनी बेटी के साथ बड़ी खुशहाल जिंदगी गुजार रहे हैं जबकि हम सबकी जिंदगियां वो उजाड़ चुके हैं अब मेरे दिमाग में एक ज्वालामुखी भड़कने लगा था और मैंने सोच लिया था कि अब मुझे क्या करना है मैं घर आया तो देखा कि पापा की तबीयत ठीक नहीं थी वो बिस्तर पर लेटे हुए थे पापा मुझसे पूछने लगे कि बेटा तुम्हारी नौकरी लग गई है तो मैंने उन्हें कहा कि पापा आप फिक्र मत करो

मेरी नौकरी लग गई है अब आपको कहीं नौकरी करने की जरूरत नहीं है यह सब काम करने की आपकी उम्र नहीं रही अब आपका बेटा कमाया करेगा पापा कहने लगे बेटा मैं तुम लोगों को अच्छी जिंदगी नहीं दे सका मुझे माफ कर देना हम तीनों भाई बहन पापा का हाथ पकड़कर रोने लगे थे हम तो अच्छी जिंदगी ही गुजार रहे थे

मगर हमारी जिंदगी में परेशानियां खड़ी करने वाला इंसान तो हमारे चाचा जी ही थे मैंने चाचा जी की बेटी को देखा था इस बारे में मैंने अपने घर में किसी को भी कुछ नहीं बताया था अगले दिन से मैं उसी जगह जाकर खड़ा हो गया था जहां पर वोह लड़की मुझे दिखाई दी थी और वो लड़की अगले दिन मुझे दिखाई दे ही गई थी मैंने उससे बात करने की कोशिश की मैं धीरे-धीरे उसके करीब गया और उससे कहने लगा कि आपकी एक कीमती चीज कल मेरे पास रह गई थी

उसने मुझे चौक कर देखा और पूछने लगी कि कौन सी कीमती चीज तो मैंने उसे वो फोटो दिया जो फोटो उसकी फैमिली का था उसने एक ही झटके से मेरे हाथ से वो फोटो ले ली और कहने लगी कि आपका बहुत-बहुत शुक्रिया मैं तो अपने नी फोटो को ढूंढती रह जाती मैंने कहा आप कहां रहती हो मेरी बात पर वह चौक गई और कहने लगी आप मुझसे यह सवाल क्यों पूछ रहे हो मैंने कहा कि कुछ नहीं बस आपसे थोड़ी जान पहचान बनाना चाहता हूं क्योंकि मैं इस शहर में नया हूं

मैं यहां किसी को नहीं जानता मैं यहां अपनी पढ़ाई पूरी करने के लिए आया हूं मेरी बहन है वह दूसरे शहर में रहती है वह कहने लगी कि अच्छा आप कौन से कॉलेज में पढ़ते हो मैंने उसे इसी शहर में स्थित एक कॉलेज के बारे में बता दिया था तो वह कहने लगी कि अच्छा उसी कॉलेज के बराबर में जो गर्ल्स स्कूल है मैं भी वहीं पर पढ़ती हूं उसने बताया था कि वह इंटर की स्टूडेंट है अब धीरे-धीरे हम दोनों की मुलाकात बस स्टॉप के पास होने लगी थी क्योंकि जिस बस से मैं अपने ऑफिस जाता था

उसी बस से वह लड़की अपने कॉलेज जाती थी उससे जान पहचान बढ़ाने के लिए मैंने उस पर अपना ध्यान देना शुरू कर दिया था और कुछ भी करके मुझे उससे दोस्ती करनी थी हम दोनों हर रोज बस स्टॉप पर मिलने लगे थे इसलिए हम दोनों की बातचीत भी हो होने लगी थी और फिर धीरे-धीरे हम दोनों ने एक दूसरे का मोबाइल नंबर भी शेयर कर लिया था उस लड़की ने मुझे अपनी फैमिली के बारे में बताया था उसका नाम सकीना था

मैंने सकीना की मुंह से धीरे-धीरे उसकी फैमिली के बारे में सारी सच्चाई उगल वाली थी उसने मुझे बताया था कि उसका जन्म इसी शहर में हुआ था वह अपने मां-बाप की एकलौती बेटी है वह लोग उससे बहुत प्यार करते हैं अब हम दोनों काफी अच्छे दोस्त बन गए थे हम दोनों की दोस्ती बहुत गहरी हो गई थी सकीना का इंटर कंप्लीट होने ने वाला था सकीना उम्र में मुझसे पूरे 10 साल छोटी थी कम उम्र की लड़कियों को अपनी मोहब्बत के जाल में फंसाना बड़ा ही आसान होता है और फिर ऐसा ही हुआ था

मैं सकीना को अपनी मोहब्बत के झांसे में बड़ी आसानी से ले सका था सकीना मेरी मोहब्बत की दीवानी हो चुकी थी मेरे बिना अब उसका ना तो दिन गुजरता था और ना ही रात होती थी मैंने उसे अपनी पहचान छुपाई हुई थी उसे अपना नाम भी अयान से फराज बताया था और कहा था कि इस दुनिया में मेरे पेरेंट्स ने नहीं है सिर्फ मेरी एक बहन है जो दूसरे शहर में रहती है और उसकी भी शादी हो चुकी है मैं यहां पढ़ लिखकर अच्छी नौकरी करना चाहता हूं

एक दिन मैंने सकीना से कहा था कि सकीना मैं तुम्हारे घर रिश्ता भेजना चाहता हूं मगर वह कहने लगी कि अभी तो मैंने यूनिवर्सिटी में सिर्फ एडमिशन लिया है मेरे पेरेंट्स मेरी शादी इतनी जल्दी नहीं कर सकते मैंने कहा एक बार तुम अपने पेरेंट्स को मेरे बारे में बताओ तो सही सकीना कहने लगी मैं पक्का कह रही हूं मेरे पेरेंट्स इतनी कम उम्र में मेरी शादी नहीं करेंगे अगर मैं उनसे शादी की बात करूंगी तो उनका सपना टूट जाएगा आखिरकार वह चाहते हैं कि मैं पढ़ लिखकर कामयाब बनूं

भला ऐसी उम्र में मैं शादी की बातें करती हुई अच्छी नहीं लगूंगा कि क्या तुम मुझसे प्यार करती हो तो उसने कहा कि हां मैं तुमसे बहुत प्यार करती हूं मैंने कहा तो फिर मेरी खातिर तुम इतना नहीं कर सकती मैं भी तुमसे बहुत प्यार करता हूं अगर तुम मुझे ना मिली तो मैं मर जाऊंगा सकीना कहने लगी मगर अगर ऐसा पॉसिबल नहीं है अभी तो तुम्हारी नौकरी भी नहीं लगी है तुम्हारे आगे पीछे भी कोई नहीं है मेरे पेरेंट्स हम दोनों के रिश्ते के लिए नहीं मानेंगे

मैंने कहा था कि सकीना तुम कुछ भी करके हम दोनों की शादी की बात करो मेरी बहन मेरे लिए रिश्ता तलाश कर रही है अगर मेरी शादी कहीं और हो गई तो मैं जिंदा नहीं बचू मेरी बात सुनकर सकीना बहुत परेशान हो गई थी दो-तीन दिन तक मैंने सकीना से कोई बात नहीं की थी उससे कहा था कि तुम्हें कुछ भी करके अपनी मम्मी पापा से मेरे बारे में बात करनी ही होगी इधर मैं धीरे-धीरे अपने प्लान में कामयाब होता जा रहा था

सकीना ने अपने पेरेंट से जब मेरे बारे में बात की और उनको मेरे बारे में बताया तो सकीना के पेरेंट्स ने इस रिश्ते से साफ इंकार कर दिया था मैं जानता था कि ऐसा ही होगा सकीना के पेरेंट्स ने उससे मोबाइल छीन लिया था मैं उसके कॉलेज के एक फ्रेंड को जानता था आखिरकार मुझे उसको पटाते हुए 7 महीने गुजर गए थे मैं उसके बारे में काफी कुछ जान चुका था उसकी दोस्त को मैंने मेरा मैसेज देकर उसके घर भेजा था

वह सकीना के घर चली गई और उसने चोरी चुपके मेरी बात सकीना से मोबाइल पर करवा दी थी सकीना कह रही थी कि मैं तुमसे बहुत प्यार करती हूं मेरे पेरेंट्स ने मुझ पर बहुत पाबंदी लगा दी है उनका कहना है कि हम तुम्हें इस लड़के से मिलने नहीं देंगे वह तुम्हें अपनी मोहब्बत के झांसे में ले रहा है अभी तुम कम उम्र की हो तुम्हें उस लड़की की बातों में नहीं आना चाहिए मैंने कहा तुम्हारे पेरेंट्स मुझे पहचानते तो नहीं है ना

सकीना कहने लगी कि नहीं मैं मैंने उनको सिर्फ तुम्हारे बारे में बताया था अगर मेरी उम्र ठीक होती तो वह मेरी शादी कर देते और तुम्हारे बारे में भी मुझसे पूछते मगर उन्होंने तो मोहब्बत का नाम सुनकर ही हम दोनों के रिश्ते से साफ इंकार कर दिया कहने लगे कि अभी तुम बच्ची हो पढ़ाई पर ध्यान दो इन कामों से दूर रहो वो अगर मुझसे तुम्हारे बारे में कुछ पूछते तो मैं तुम्हारा फोटो उनको दिखा देती मगर वो तो तुमसे रिलेटेड कुछ भी सुनने के लिए तैयार ही नहीं है

मैंने कहा सकीना अगर हम दोनों को अपनी मोहब्बत को कामयाब करना है है तो फिर तुम्हें कोई स्टैंड लेना होगा सकीना कहने लगी कि तुम क्या कहना चाहते हो फिर मैंने उससे कहा कि तुम सब कुछ छोड़कर मेरे पास आ जाओ मैं तुम्हें बहुत खुश रखूंगा बस तुम एक बार आ जाओ मैं सारे इंतजाम कर लूंगा हम दोनों शादी कर लेंगे और शादी के बाद हम अपनी अलग दुनिया बसाएंगे सकीना कहने लगी कि ऐसा नहीं हो सकता मैं अपने पेरेंट्स का भरोसा कभी नहीं तोड़ सकती

मेरे पापा मुझ पर बहुत भरोसा करते हैं मैंने कहा अच्छा तो ठीक है तो फिर तुम मुझे छोड़ दो और कहीं और शादी कर लो और मैं भी कहीं और शादी कर लेता हूं मगर याद रखना मैं तुम्हारे बिना मर जाऊंगा मेरी लाश से गुजर कर तुम्हें किसी और से शादी करनी होगी मेरी बातें सुनकर सकीना रोने लगी थी और कहने लगी कि मैं क्या करूं मैं बहुत मजबूर हूं मैंने कहा मैं तुम्हें बता तो रहा हूं जैसा मैं कहता हूं तुम वैसा ही करो सकीना मेरे अपने घर से भागने के लिए तैयार हो गई थी

क्योंकि वह यह बात अच्छी तरह से जानती थी कि मेरी नौकरी भी नहीं है और मेरे आगे पीछे भी कोई नहीं है उसके पेरेंट्स कुछ भी करके हम दोनों को एक नहीं कर सकते इसलिए एक रात वह अपने घर से सब कुछ छोड़-छाड़ करर मेरे पास आ गई थी और फिर मैं उसे एक ऐसी जगह पर ले गया था जहां पर गंदी मेली कुचली गलियों से गुजर कर जाना पड़ रहा था ऐसे रास्ते तो शायद सकीना ने कभी देखे ही नहीं होंगे इस जगह मैंने एक छोटा सा घर किराए पर ले लिया था

और सकीना को बताया था कि यह मेरा ही घर है सकीना यह देखकर घबराई तो थी क्योंकि उसके पापा तो इस शहर में आ ने के बाद अमीर हो गए थे अपनी बेटी को एक अच्छी जिंदगी दे रहे थे भला वह अपनी बेटी की शादी किसी ऐसे इंसान से कहां करवा सकते थे जिसके साथ उनकी बेटी की जिंदगी ठीक से गुजर भी ना सके अब तो उनकी बेटी यह कदम उठा चुकी थी हम दोनों ने कोर्ट मैरिज भी कर ली थी दुल्हन बनकर वह मेरे साथ आ चुकी थी

मेरे साथ वह किसी भी हाल में रहने के लिए तैयार थी मगर मैंने शादी के पहले दिन से ही अपना रूप दिखाना शुरू कर दिया था शादी की पहली रात मैं उसे उस घर में अकेला छोड़कर सारी रात के लिए अपने घर जाकर बेफिक्र से सोया था और उसे कह दिया था कि घर का दरवाजा अंदर से अच्छे से बंद कर ले मैं अभी थोड़ी देर में आ रहा हूं और फिर मैं सारी रात वहां पर नहीं गया उसकी देखरेख करने के लिए मैंने वहां बराबर में रहने वाली एक पड़ोसन औरत से बात कर ली थी

और उनको पैसे दे दिए थे ताकि वह सकीना की देखरेख कर सके और सकीना कहीं ना जा सके उस रात मुझे बड़ी बेफिक्र की और बहुत सुकून की नींद आई थी क्योंकि मैं अपने चाचा जी से बदला लेने में कामयाब हो रहा था उधर मुझे पता चला कि चाचा जी की कंडीशन बहुत खराब है आखिरकार उनकी इकलौती बेटी घर से जो भाग गई है मुझे मेरे दोस्त ने बताया कि उनको हार्ट अटैक आ गया क्योंकि जिस दिन से मुझे पता चला था कि चाचा जी जिस घर में रहते हैं

वहां पर भी मैंने अपने कुछ मुखबिर छोड़ दिए थे जो चाचा जी पर नजर रखे हुए थे मुझे बड़ी खुशी हुई थी कि चाचा जी की तबीयत खराब हो गई मुझे उन पर किसी भी तरह का कोई तरस नहीं आया था उन्होंने भी तो हमारे साथ क्या-क्या नहीं किया था अब मैं सकीना से दूर-दूर रहने लगा था सकीना से कोई बात नहीं करता था इस बात पर वह हैरान होती थी कि मैं तो शादी से पहले उससे बहुत प्यार मोहब्बत के वादे करता था अब मुझे क्या हो गया है

वह मेरा गलत बर्ताव देखकर बार-बार मुझसे यह सवाल करती थी मगर मैं उसके किसी बात का कोई जवाब नहीं देता था मैं उसे बहुत तंग करना चाहता था मैं चाहता था कि जो तकलीफ मेरे पूरे परिवार ने उसके बाप के जाने के बाद भुगती है वही तकलीफ वो भी भुगते अब मैं कुछ ऐसा करना चाहता था जिससे सकीना कोई बड़ा कदम उठाए सकीना मुझसे बहुत तंग आ चुकी थी क्योंकि रातों को मैं उसके साथ नहीं होता था इस छोटे से घर में मैं उसे अकेला छोड़ दिया करता था

उसकी खुशी को पूरा नहीं करता था बाजार से उसके लिए खाना लाता ताकि वह जिंदा रह सके जब मैं आता तबी वह खाना खाती थी वरना सारा दिन भूखी रहती थी बाकी मैं उससे कोई बात नहीं करता था वह मुझसे लड़ाई झगड़ा करने लगी थी मगर मैं उसकी बातों को पलटकर कोई जवाब नहीं देता था था उसे इस बात पर बड़ी हैरानी होती थी कि आखिर मुझे शादी के बाद क्या हो गया अब वह पछताने लगी थी कि उसने मेरे साथ शादी करके कितनी बड़ी गलती कर द है

मोहब्बत के सुहाने फल शादी से पहले कुछ और और शादी के बाद कुछ और होते हैं यह बात उसे समझ में आने लगी थी उसे अपनी गलती का एहसास हो चुका था कि उसने गलत इंसान के साथ मोहब्बत की है मैं सारा दिन अपने ऑफिस में होता रात को थोड़ी देर के लिए सकीना के पास उसको देखने के लिए चला जाता था लेकिन घर से निकलने के बाद उसकी सारी इंफॉर्मेशन मैं पड़ोसन से लिया करता था उस औरत ने सकीना से जान पहचान बढ़ानी शुरू कर दी थी

एक दिन उसने उससे कहा कि तुम उदास क्यों रहती हो उसके ऐसा पूछने पर सकीना ने उसको अपने दिल का हाल बता दिया और कहा कि मेरा पति मुझे मुंह नहीं लगाता शादी से पहले तो बहुत अच्छा था ना जाने शादी के बाद उसे क्या हो गया मैं इस घर में सारी रात सारा दिन अकेली रहती हूं मुझे यहां अकेले रहते हुए डर लगता है मुझे अपने पति के साथ की बेहद जरूरत है उस औरत ने सकीना को एडवाइस दी कि अभी तुम अकेली हो इसलिए तुम्हारा पति तुम्हें मुंह नहीं लगाता

मगर जब बच्चा पैदा हो जाएगा तो वह तुम्हें छोड़कर कहीं भी नहीं जाएगा सकीना कहने लगी कि ऐसा कैसे पॉसिबल है तो उसने कहा कि मैं तुम्हें एक तरीका बताती हूं उसे जरूर करना सरसों के तेल में लहसुन डालकर अपने पति के शरीर की मालिश किया करो तुम्हारा पति तुम्हारा दीवाना हो जाएगा और रही तुम्हारे अकेलेपन की बात तो तुम्हारा अकेलापन भी खत्म हो जाएगा तो तुम जिस दिन एक बच्चे की मां बन जाओगी तुम्हारा पति भी फिर तुम्हें अकेला छोड़कर नहीं जाया करेगा

उसकी बात सुनकर वो कहने लगी कि मैं तो अभी तक प्रेग्नेंट ही नहीं हुई हूं मेरा पति मेरे करीब आता ही नहीं है उसने उससे कहा कि तुम इस सरसों के तेल में लहसुन मिलाकर अपने पति की मालिश करोगी तो वह तुम्हारे पास भी आया करेगा और फिर वह थक हार कर तुम्हारे पास ही सो जाया करेगा फिर उसका कहीं जाने का मन ही नहीं करेगा और मैं तुम्हें सुबह के समय एक मिठाई दिया करूंगी तुम वो खा लिया करो उससे जल्दी तुम्हें मां बनने की खबर मिलेगी

उस औरत ने मुझे बताया कि मैं यह सब कुछ तुम्हारी पत्नी को बता चुकी हूं तुम्हारी पत्नी बहुत बेफिक्र हो गई है बच्चों वाली बात मैंने उसके दिमाग में डाल दी है मैंने उस औरत को पैसे दिए और कहा कि तुम बहुत अच्छा काम कर रही हो बस इसी तरह अपने काम को अंजाम देती रहो मैं चाहता था कि किसी भी तरह सकीना को यकीन हो जाए कि वह मां बनने वाली है ताकि मैं उस पर गलत इल्जाम लगा सकूं लेकिन वह कहीं जाती ही नहीं थी वह मां कैसे बन सकती थी

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इसीलिए मैंने यह नया तरीका अपनाया था सकीना इस औरत की कही हुई बातों पर बहुत अच्छे से ध्यान दे रही थी सरसों के तेल में लहसुन मिलाकर वह मेरी बॉडी की मसाज किया करती थी जब मैं रात को उसके पास जाता तो वह कहती कि आप बहुत थक गए हो मैं आपकी मालिश कर देती हूं वह मेरी मालिश करती तो मुझे बहुत अच्छा लगता था मगर ना जाने क्यों धीरे-धीरे मैं उसका दीवाना होने लगा था मेरा सच में मालिश करवाने के बाद उसके पास से जाने को मन ही नहीं करता था

मैंने सोचा कि कहीं मैं उसकी मोहब्बत में गिरफ्तार ना हो जाऊं इसलिए मैं बहुत जोर-जोर से चीखता था और कहता था कि मुझे बहुत जलन हो रही है यह तुमने मेरी बॉडी पर क्या लगा दिया वह डर जाती थी और कमरे के बाहर निकल जाती थी सारी रात वह बाहर आंगन में बैठकर ही गुजारा करती थी इससे उसे तकलीफ भी पहुंच रही थी और मेरा भी काम आसान हो रहा था पड़ोसन उसे एक तरह की मिठाई भी खिलाया करती थी दरअसल यह केमिकल की मिठाई होती थी

जिससे सकीना का पेट धीरे-धीरे फूलने लगा था और सकीना को लगने लगा था कि वह प्रेग्नेंट है सकीना अपना पेट देखकर बहुत खुश हो रही थी यह बात क्लियर करने के लिए कि वह प्रेग्नेंट है या नहीं उसने पड़ोसन को अपना पेट दिखाया तो पड़ोसन ने उसके दिमाग में यह बात डाल दी थी कि तुम प्रेग्नेंट ही हो तुम्हें ऊपर वाले ने खुशी दे दी है उसने जब मुझे इस बारे में बताया तो मैंने उसके मुंह पर एक जोरदार थप्पड़ मार दिया था

मैंने कहा कि जब तुम्हारे और मेरे बीच में कोई ऐसा रिश्ता ही नहीं बना तो फिर यह बच्चा मेरा कहां से हो सकता है यह बच्चा आखिर किसका है किसके साथ तुमने अपना मुंह काला किया है वह मुझे बहुत सफाई दे रही थी वो उस औरत को भी बुलाकर लाई जिसने ये सारे टोटके उसको करने के लिए कहे थे मगर उसने इंकार कर दिया और कहने लगी कि मैंने तो इसे कुछ भी नहीं बताया यह लड़की झूठ बोल रही है क्या पता इसके पेट में किसका पाप पल रहा है

और यह इल्जाम मुझ पर लगा रही है इस तरह से सकीना को तंग करने में मैं और भी कामयाब हो रहा था अब मैं सकीना को हमेशा बुरा भला कहने लगा था सकीना बहुत परेशान हो गई थी उसकी हालत बहुत बहुत खराब हो गई थी उसकी आंखों के नीचे काले घेरे पड़ गए थे और सेहत भी बहुत कमजोर हो गई थी सकीना को यकीन हो गया था कि उसने जिस इंसान पर भरोसा करके उसके साथ शादी की उसके साथ उसकी जिंदगी तबाह हो गई

एक दिन में पड़ोस वाली औरत के घर में उसको पैसे देने के लिए गया था क्योंकि मैं इस औरत से पैसों पर काम करवा रहा था मेरा काम भी अच्छा चल रहा था मेरी काबिलियत देखते हुए ऑफिस वालों ने मेरा प्रमोशन भी कर दिया था और इधर मैं सकीना और उसके परिवार से भी बदला ले रहा रहा था मैं खुश था कि अब हमारी जिंदगी में काफी सारी आसानी आ गई है मैं खुशी-खुशी उसे पैसे देने लगा और उससे कहा कि तुम बहुत अच्छा काम कर रही हो

एक दिन इन सब हालात से तंग आकर सकीना आत्महत्या कर लेगी और फिर उसकी लाश जब उसके बाप के पास जाएगी तो तब उसे अपनी गलती का एहसास होगा जो उन्होंने कई सालों पहले की थी वह औरत भी मेरे साथ-साथ हंसने लगी मैंने कहा सकीना बेचारी बार-बार मुझे इस बात का यकीन दिला रही है कि वह मेरे ही बच्चे की मां बनने वाली है मगर उसे कौन बताए कि नाना तो उसके पेट में बच्चा है और ना ही उस बेचारे ने किसी और के साथ मुंह काला किया है

उसे तो बेवजह की सजा दी जा रही है यह कहकर हम दोनों जोर-जोर से हंसने लगे थे मगर मैंने देखा कि पड़ोसन के दरवाजे पर तो सकीना खड़ी हुई थी और वह हम दोनों की बातें खामोशी से सुन चुकी थी जब सकीना मेरे करीब आई और उसने मेरा गिरेबान पकड़ लिया कहने लगी घटिया इंसान तुमने मेरी जिंदगी खराब कर दी आखिर तुमने मेरे साथ यह सब कुछ क्यों किया मैंने तुम तुम्हारा क्या बिगाड़ा था सकीना की यह बातें सुनकर मुझे उस पर गुस्सा आया

और मैंने उसे एक तरफ को झटका दे दिया मैंने कहा तुम यह बताओ तुम घर से बाहर कैसे आई मैंने तुम्हें घर से निकलने के लिए मना किया है ना सकीना कहने लगी कि मैं काफी दिनों से तुम पर नजर रख रही हूं तुम इस औरत के यहां बहुत-बहुत समय गुजारते हो एक दिन मैं खिड़की में खड़ी हुई तुम्हें देख रही थी मगर तुम घर से निकलने के बाद इस औरत के यहां चले गए थे और बहुत समय के बाद घर से निकले थे

तभी मुझे शक हो गया था कि जरूर तुम लोगों के बीच कुछ चल रहा है मैंने सोचा कि आज मैं तुम्हारा पीछा करती हूं और अपनी आंखों से देखूं कि तुम दोनों के बीच क्या चल रहा है और तुम दोनों रोज इतना समय एक दूसरे के साथ बातें करने में क्यों गुजारते हो मगर आज जब मैं यहां आई तो मैंने अपने कानों से सब कुछ सुन लिया बताओ तुमने मेरे साथ ऐसा क्यों किया शादी और प्यार मोहब्बत के नाम पर तुमने मेरे साथ धोखा किया और तुम इसके साथ मिलकर मुझे बेवकूफ बना रहे हो

वह मुझे झंझोट झंझोट कर मुझसे पूछ रही थी तभी मैंने उसके मुंह पर एक जोरदार थप्पड़ मार दिया और कहा अगर तुम पूरी बात सुनना ही चाहती हो तो सुनो दरअसल तुम्हारे पापा ने कई सालों पहले हमारे घर से भागकर शहर में आकर तुम्हारी मम्मी से शादी कर ली थी और तुम्हारी मम्मी भी उसी गांव की रहने वाली थी जिस गांव में हम लोग रहते थे मैंने उसे हम लोगों के साथ होने वाले एक-एक जुल्म के बारे में सब कुछ बता दिया था

यह सब सुनकर सकीना को अपने कानों पर विश्वास नहीं रहा था मैंने कहा कि अच्छा हुआ आज तुम्हें सारी सच्चा चाई पता चल गई वैसे भी मैं ये शादी का नाटक करते-करते तंग आ गया था मुझे भी तुम्हारे साथ रहने का कोई शौक नहीं है बस मैं तुमसे अपना बदला लेना चाहता था और मेरा बदला पूरा हो चुका है मैं तुम्हें पिछले एक साल से बहुत तंग कर रहा हूं मेरा मन भर गया अब तुम जहां जाना चाहो वहां जा सकती हो सकीना कहने लगी कि नहीं मेरे मम्मी पापा ऐसा नहीं कर सकते

उन लोगों की तो अरेंज मैरिज हुई थी मैंने कहा जाओ और अपने पापा से जाकर सच पूछो वही तुम्हें सब सच बताएंगे सकीना रोती हुई अपने घर चली गई थी मैं भी उसके पीछे-पीछे उसके बाप के यहां चला गया था जब मैं वहां पहुंचा तो अपने चाचा को मैंने कई सालों के बाद देखा था सकीना अपने पापा के गले लगकर फूट कर रोने लगी थी जबकि उसके पापा ने उसे धक्का दिया और कहने लगे कि बगैर लड़की कहां भाग गई थी

हमने तुझे बचपन से लेकर अब तक कितना प्यार दिया और तूने हमारे भरोसे को तोड़ दिया सकीना अपने पापा के आगे रो रही थी तभी मैं वहां पर पहुंच गया और मैंने कहा कि आप की बेटी ने कुछ गलत नहीं किया आपकी बेटी के साथ भी वही हुआ है जो कुछ साल पहले आप लोगों ने हमारे साथ किया था मेरी बात सुनकर वह चौक गए और कहने लगे कि तुम कौन हो मैंने कहा मैं आपकी बेटी का पति हूं और आपका भतीजा हूं

अयान जब मैंने उन्हें अपना नाम बताया तो वह चौक गए क्योंकि उन्हें अपनी आंखों पर विश्वास नहीं हो रहा था मैं इतने सालों बाद उनके सामने भी आ सकता हूं उन्हें तो लगा था कि हम गांव में ही रहते होंगे फिर मैंने उन्हें सब कुछ बताया और कहा कि आपने हम पर बहुत जुल्म किए आपकी वजह से हम लोगों ने दर-दर की ठोकरें खाई आपकी वजह से दादा-दादी इस दुनिया से चले गए मगर आपने तो अपनी शादी करने के लिए हम सबकी जिंदगियों को मुसीबत में डाल दिया

शुरू से लेकर अब तक की पूरी बात सुनने के बाद चाचा जी शर्मिंदगी महसूस करने लगे मैंने कहा कि मैंने आपकी बेटी का इस्तेमाल करके आपसे बदला लिया है आखिर आपको भी तो पता चले कि लव मैरिज करने के बाद घर से भागने वाले के पीछे उनके परिवार वालों को किन-किन परेशानियों का सामना करना पड़ता है आप आप ने तो फिर भी अपनी बेटी के भागने के बाद उन परेशानियों का सामना नहीं किया जिन परेशानियों का सामना हमने और हमारे पूरे परिवार ने किया था

दादा-दादी इस दुनिया से जा चुके हैं आपकी दोनों बहनें जो शक्ल सूरत की अच्छी होते हुए भी ज्यादा उम्र हो जाने की वजह से उनकी ऐसे-ऐसे घरों में शादी हुई है जहां आप अपनी बेटी को भेजना भी पसंद नहीं करते सकीना ने अपने पापा से सवाल किया पापा क्या यह ठीक कह रहा है पापा ने कहा कि हां बेटा यह तुम्हारा कजिन है यह बिलक बकुल ठीक कह रहा है कुछ सालों पहले मैंने कुछ ऐसा ही किया था सकीना यह सब सुनकर बड़ी हैरानी से अपने पापा को देख रही थी

चाचा जी मुझसे कहने लगी कि बेटा मुझे माफ कर दो हमने तुम्हारे साथ जो कुछ भी किया मगर हम दोनों अपनी मोहब्बत को कामयाब करना चाहते थे हम दोनों के घरवाले ही हमारी शादी के लिए राजी नहीं हो रहे थे क्योंकि हमारे गांव में ऐसा रिवाज ही नहीं है मगर मैं क्या करता मुझसे एक बहुत बड़ी गलती हो गई थी तुम्हारी चाची प्रेग्नेंट थी और मुझे कुछ भी करके तुम्हारी री चाची को अपनाना था अगर मैं ऐसा नहीं करता तो सकीना को मार दिया जाता

और सकीना की मम्मी की शादी किसी और से करवा दी जाती इसलिए मैंने इतना बड़ा कदम उठाया और मैं भागकर यहां इस शहर में आकर रहने लगा था तुम्हें क्या लगता है कि मैंने इतनी आसानी से जिंदगी गुजारी है मैंने भी बहुत परेशानी भरी जिंदगी गुजारी है तब जाकर मेरे हालात ठीक हुए मगर मुझे एहसास है कि तुम लोगों के साथ बहुत बुरा हुआ होगा लेकिन तुमने मेरी बेटी के साथ क्या किया तुम उसे घर से भगा ले गए

मैंने कहा जी मैंने भी वही किया जैसा आपने कुछ सालों पहले किया था सकीना ने रोते हुए अपने पापा को बताया कि आपकी गलती का नतीजा मैंने भुगता है इसने मुझसे शादी सिर्फ और सिर्फ आपसे बदला लेने के लिए की मैं जानती हूं कि मैंने भी आपकी तरह गलत कदम उठाए मगर मेरे साथ आपसे कई गुना बेहतर बुरा हुआ है मेरा बदला पूरा हो चुका था चाचा जी और उनकी बेटी को मैं काफी हद तक तकलीफ दे चुका था चाचा जी मुझसे हाथ जोड़कर माफ़ी मांग रहे थे

और कहने लगे कि बेटा मुझे माफ कर दो मेरी गलती की सजा मेरी बेटी को मत दो मेरी बेटी को एक्सेप्ट कर लो यह तुम्हारे निकाह में है प्लीज इसके साथ गलत मत करो मैंने कहा कि नहीं मैं इसके साथ नहीं रहूंगा और ना ही मैं इसे आजाद करूंगा मैं आपकी बेटी को अभी और तड़पा आंगा मेरी बात सुनकर चाचा जी कहने लगे कि नहीं नहीं बेटा ऐसा मत करना यह कहकर मैं अपने घर चला आया था अगले दिन चाचा जी अपनी बेटी के साथ हमारे घर के दरवाजे पर खड़े हुए थे

उन्होंने मेरे घर का एड्रेस निकलवा लिया था मगर इतने सालों बाद अपने छोटे भाई को देखकर पापा को गुस्सा तो बहुत आया था पापा उनसे कोई बात नहीं करना चाहते थे उन्होंने अपना मुंह फेर लिया था लेकिन जब चाचा जी जबरदस्ती अपने भाई के पैरों में गिर गए और उनसे गले लगकर अपनी सारी गलतियों की उन्होंने माफी मांगी तो मेरे पापा का दिल पिघल गया था चाचा जी ने पापा से कहा कि अब आप मुझसे ज्यादा नाराज मत रहो

क्योंकि तुम्हारा बेटा मुझसे बदला ले चुका है जो तकलीफ तुमने सही है उसी तकलीफ से मैं भी गुजर रहा हूं चाचा जी ने पापा को को सब कुछ बता दिया था पापा तो यह बात सुनकर चौक गए थे क्योंकि मेरे पापा जो पहले चाचा जी को बहुत बुरा समझते थे अब उनको सामने देखकर उनके दिल में मोहब्बत उमड़ पड़ी थी आखिरकार वह बड़े थे और बड़ों का हक तो छोटों को माफ करना होता ही है

लेकिन जब चाचा जी ने मेरी सारी बातें पापा को बताई तो पापा को इस बात पर बहुत गुस्सा आया था पापा ने कहा था कि बेटा तुमने इस बच्ची के साथ गलत करके अच्छा नहीं किया आखिर इसमें इस बच्ची की क्या गलती थी गलती तो इसके मां-बाप से हुई है सकीना मेरे पापा के कदमों में बैठकर फूट-फूट कर रो रही थी सकीना कहने लगी कि प्लीज ताऊ जी मेरे पापा को माफ कर दीजिए मैं सारी जिंदगी आपकी एहसानमंद रहूंगी

उसकी बात पर पापा ने चाचा जी को माफ कर दिया था सकीना अपने पापा से बहुत नाराज थी लेकिन फिर वक्त के साथ-साथ सब कुछ ठीक हो गया ऊपर वाले ने सबके दिलों में मोहब्बत डाल दी इतना सब कुछ होने के बाद भी धीरे-धीरे सब कुछ ठीक हो ही गया सकीना और मेरा एक रिश्ता था मगर वह अभी भी अपने पापा के घर है है क्योंकि अभी मैंने खुलकर सकीना को एक्सेप्ट नहीं किया मैं उससे शादी नहीं करना चाहता था मैं तो सिर्फ उससे बदला लेना चाहता था

लेकिन उसके साथ रहते-रहते मुझे कहीं ना कहीं थोड़ी-थोड़ी उससे मोहब्बत हो गई हम दोनों के पेरेंट्स ने फिर तय किया कि जब हम दोनों एक दूसरे के साथ नहीं रहना चाहते तो हम दोनों को अलग कर दिया जाए लेकिन ना जाने क्यों अलग होने के नाम से मेरी रूह कांप उठी थी और मैंने मना कर दिया कि मैं सकीना से अलग नहीं होना चाहता और फिर इस तरह हम दोनों एक हो गए थे अब हम दोनों की फैमिली के बीच किसी भी तरह की कोई मिसअंडरस्टैंडिंग नहीं है

दोनों ही परिवार एक दूसरे के साथ मिल गए लेकिन अब काफी हद तक बहुत कुछ बर्बाद हो चुका है मगर अब क्या कर सकते हैं सारी जिंदगी तो हम किसी से नाराज नहीं रह सकते और फिर तब जब सामने बदला लेने वाला इंसान हमारा कोई गैर नहीं बल्कि अपना हो अपनों से भला कोई कब तक दूर रह सकता है जिंदगी में अच्छा बुरा वक्त तो आता जाता ही रहता है शायद व सब कुछ होना हमारे पूरे परिवार के नसीब में लिखा हुआ था

और और उसकी वजह मेरे चाचा जी बन गए थे पापा ने उनको माफ करके अपना दिल बड़ा किया और चाचा जी को उनकी गलती का एहसास हो गया अपनों से कोई भी ज्यादा समय तक दूर नहीं रह सकता इसलिए किसी की बड़ी से बड़ी गलती को भी सही समय पर माफ कर देना चाहिए ताकि और जिंदगियां तबाह ना हो

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